हिमांशु साँगाणी / गरियाबंद
गरियाबंद। आगामी निकाय चुनाव की बिसात बिछाने के लिए कांग्रेस ने अपनी रणनीतियां तेज कर दी हैं। दिवाली मिलन के बहाने गरियाबंद में आयोजित कार्यक्रम में पूर्व विधायक और प्रथम पंचायत मंत्री अमितेश शुक्ल ने कांग्रेस कार्यकर्ताओं को चार्ज करते हुए कहा कि निकाय चुनाव में सफलता कार्यकर्ताओं के समर्पण और संघर्ष पर निर्भर करती है। उन्होंने जोर देकर कहा कि यह चुनाव पार्टी नहीं, बल्कि कार्यकर्ताओं का होता है।
अमितेश ने अपने संबोधन में वर्तमान नगर सरकार की नाकामियों को जन-जन तक पहुंचाने की अपील की।
उन्होंने बिजली बिल की बढ़ोतरी, योजनाओं में कटौती और जनहित से जुड़ी योजनाओं के बंद होने जैसे मुद्दों को चुनावी हथियार के रूप में इस्तेमाल करने की बात कही। कार्यक्रम में वरिष्ठ और सक्रिय कार्यकर्ताओं का सम्मान करते हुए उन्होंने कांग्रेस को “संघर्ष का पर्याय” बताया।
चुनाव जीतने की रणनीति पर चर्चा
दिवाली मिलन के साथ ही बंद कमरे में चुनावी रणनीति पर भी मंथन किया गया। कांग्रेस ने प्रत्येक बूथ के लिए प्रभारी नियुक्त करने और बूथ संचालन को सुचारू बनाने की योजना बनाई है। जोन स्तर पर वरिष्ठ कार्यकर्ताओं को समन्वय की जिम्मेदारी दी जाएगी। अमितेश शुक्ल ने संकेत दिया कि भाजपा में चल रही अंदरूनी कलह का पूरा लाभ उठाने के लिए एक विशेष टीम तैयार की जा रही है।
सफाई कर्मियों को समर्थन से बदली सियासी तस्वीर
दिवाली मिलन कार्यक्रम के बीच, जब नगर के सफाई कर्मी अपनी मांगों को लेकर रैली कर रहे थे, अमितेश ने मौके पर पहुंचकर उनका समर्थन किया। उन्होंने कहा कि सरकार के प्रति निचले स्तर के कर्मचारियों में नाराजगी साफ दिख रही है, और बार-बार हो रहे प्रदर्शन इसका प्रमाण हैं। उनके इस कदम से पार्टी को जनसमर्थन जुटाने में एक नई दिशा मिल सकती है।
भाजपा को घेरने की तैयारी
कार्यक्रम के दौरान अमितेश ने कार्यकर्ताओं को स्पष्ट संदेश दिया कि जनता को भाजपा सरकार की नीतियों की विफलताओं से अवगत कराना होगा। बिजली संकट, योजनाओं की अनदेखी और जनसुविधाओं की कमी को प्रमुख मुद्दा बनाया जाएगा। गरियाबंद में कांग्रेस का यह उत्साह और कार्यकर्ताओं का जोश पार्टी की मजबूती का संकेत देता है। अब देखना होगा कि निकाय चुनाव में यह रणनीति कितना असर दिखाती है।