हिमांशु साँगाणी
गरियाबंद छत्तीसगढ़ में बर्ड फ्लू कहर बन गया है राज्य के रायगढ़ शहर में सरकारी पोल्ट्री फार्म अचानक ‘मौत की वादी’ बन गया, जहां एक-एक कर हजारों मुर्गियां दम तोड़ने लगीं। जब इस रहस्यमयी मौत की गुत्थी सुलझाने के लिए जांच हुई, तो बर्ड फ्लू (H5N1 वायरस) का खौफनाक सच सामने आया। इसके बाद मुर्गियों और चूजों के दफन की कहानी किसी आपातकालीन मिशन से कम नहीं थी !

‘ऑपरेशन वायरस किल’: हजारों मुर्गियां दफन, इलाके को सील किया गया
जैसे ही रिपोर्ट पॉजिटिव आई, प्रशासन ने पूरे फार्म को ‘हाई सिक्योरिटी जोन’ घोषित कर दिया। फिर एक विशेष टीम ने 4,356 मुर्गियों और 10,769 चूजों को गड्ढों में डालकर दफनाया। यह कोई साधारण दफन नहीं था—पहले नमक और चूने की मोटी परत बिछाई गई, फिर मुर्गियों को डालकर ऊपर से फिर नमक और चूने से ढक दिया गया, ताकि वायरस खत्म हो जाए।
26 हजार अंडे और 7 सौ क्विंटल से ज्यादा दाना भी नष्ट!
संक्रमण रोकने के लिए सिर्फ मुर्गियां ही नहीं, बल्कि 26,300 अंडे और 712 क्विंटल पोल्ट्री आहार को भी नष्ट किया गया। पूरे इलाके को डिसइंफेक्ट किया गया और एक किलोमीटर के दायरे में ‘नो एंट्री’ घोषित कर दिया गया।
चिकन खाने वाले सावधान! रायगढ़ में बर्ड फ्लू का खतरा बढ़ा
विशेषज्ञों ने चेतावनी दी है कि H5N1 वायरस इंसानों में भी फैल सकता है। चिकन और अंडा खाने वालों को सतर्क रहने की जरूरत है, खासकर कच्चा या अधपका चिकन खाने से बचें। प्रशासन ने भी जनता से अपील की है कि फिलहाल चिकन और अंडे से दूरी बनाएं।
पोल्ट्री बाजार में सन्नाटा, व्यापारी संकट में
इस घटना के बाद रायगढ़ में चिकन कारोबार पर तगड़ा असर पड़ा है। पोल्ट्री फार्म मालिकों को लाखों का नुकसान झेलना पड़ रहा है, और चिकन की बिक्री में भारी गिरावट आ गई है।
क्या रायगढ़ के अलावा राज्य के अन्य शहरों में बर्ड फ्लू का खतरा बढ़ेगा?
प्रशासन ने कहा है कि बाकी पोल्ट्री फार्मों पर भी कड़ी निगरानी रखी जा रही है। इसके अलावा राज्यभर के अन्य शहरों में भी इसकी इसकी निगरानी की जा रही है रायगढ़ में बर्ड फ्लू की यह घटना चिकन कारोबार और जनता दोनों के लिए एक बड़ा झटका है। अब हर किसी की नजर इस पर टिकी है कि क्या यह वायरस थमेगा, या फिर आगे और कहर बरपाएगा?