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शिक्षा विभाग कार्यवाही गरियाबंद से बड़ी खबर कोड़ोहरदी स्कूल के पैग वाले मास्साब टंकेश्वर सोंम निलंबित 7 अक्टूबर को मामला उठाने के 24 दिन बाद DEO ने जारी किया निलंबन आदेश पढ़ें पूरी खबर पैरी टाईम्स पर ।
गरियाबंद जिले के शिक्षा विभाग ने आखिरकार 24 दिनों की लंबी नींद के बाद अपनी आँखें खोली हैं। शासकीय प्राथमिक शाला कोड़ोहरदी के प्रधान पाठक, जो स्कूल को ज्ञान का मंदिर कम और मयखाना ज्यादा समझ बैठे थे, उन पर आखिरकार निलंबन की गाज गिर ही गई।

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यह मामला हमारे द्वारा 7 अक्टूबर को प्रमुखता से उठाया गया था, लेकिन तत्काल प्रभाव वाले आदेश को जारी होने में 31 अक्टूबर तक का समय लग गया। मामला प्रधान पाठक टंकेश्वर कुमार सोंम से जुड़ा है, जिन पर स्कूल में नशे की हालत में उपस्थित रहने, अपने काम में घोर लापरवाही बरतने और अनुशासनहीनता के गंभीर आरोप थे। उनका यह आचरण छत्तीसगढ़ सिविल सेवा आचरण नियम 1965 के नियम 3 (1) और नियम 23 का स्पष्ट उल्लंघन था।
7 अक्टूबर की शिकायत जांच, रिपोर्ट और आदेश आने में लग गए 24 दिन
7 अक्टूबर को खबर प्रकाशित होने के बाद विभाग में हड़कंप तो मचा, लेकिन कार्रवाई की फाइल दफ्तरों में घूमती रही। अंततः, 31 अक्टूबर को जिला शिक्षा अधिकारी, गरियाबंद ने आदेश क्रमांक 4897 जारी करते हुए श्री टंकेश्वर कुमार सोंम को छत्तीसगढ़ सिविल सेवा (वर्गीकरण, नियंत्रण तथा अपील) नियम 1966 के नियम 9 (1) के तहत तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया।
बीईओ ऑफिस बना नया ठिकाना
निलंबन अवधि के दौरान, मास्साब का नया ठिकाना स्कूल के बच्चे नहीं, बल्कि कार्यालय विकासखंड शिक्षा अधिकारी, गरियाबंद होगा। उन्हें नियमानुसार जीवन निर्वाह भत्ते की पात्रता होगी।बहरहाल, 24 दिन बाद हुई इस तत्काल कार्रवाई ने एक बार फिर व्यवस्था की सुस्ती को उजागर कर दिया है। उम्मीद है कि इस कार्रवाई से उन अन्य शिक्षकों को भी कड़ा संदेश जाएगा, जो शिक्षा के मंदिर की गरिमा को तार-तार करने से नहीं चूकते।
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